Thursday, October 28, 2021

मेरा प्यार नहीं बदलेगा

ये मौसम बदल जायेगा , ये ऋतुएँ बदल जायेंगी ,

ये दिन , सप्ताह , महीना सब बदल जायेगा ,

सुनो , तुम गौर से सुनो , मेरा प्यार नहीं बदलेगा। 

मैं सूरज हूँ , हाँ सूरज ,

तुम्हारी ठंढी हथेली पर ,

अपने गरम हथेली रख ,

तुम्हे प्यार का अहसास कराऊंगा।

मैं मौसम नहीं , जो बदल जाऊंगा ,

वक़्त बदल सकता है , बदल जायेगा ,

पर मेरा प्यार नहीं बदलेगा। 

हाँ , वक़्त के क्षुद्र बादल ,

मुझे कुछ देर के लिये ,

ढँक तो सकते हैं ,

पर तिरोहित नहीं कर सकते। 

यह क्षुद्र बादल ,

मेरे तपिश में पिघल जायेगा ,

पर , मैं सच कहता हूँ ,

मेरा प्यार नहीं बदलेगा ,

नदी समन्दर बन सकती है ,

समन्दर नदी बन सकता है , 

सहरा में सैलाब बन सकता है ,

ये तारे टूट कर गिर सकते हैं ,

हवा प्रलय मचाती है  मचा लेगा ,

पर मेरा प्यार नहीं बदलेगा। 

रचना तिथि- 15 -04 - 21

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