Sunday, May 28, 2017

वो बचपन की यादें

वो बचपन की यादें , वो बचपन की बातें ,
मेरे दिल में चुभती , वो किस्सों की  रातें ।
 कभी तो लिपटना  , कभी काँधे चढ़ना ,
बहुत याद आती , शरारत की बातें ।
नहीं भूली हूँ मैं , वो , दादी की बातें  ,
वो बचपन की यादें , वो बचपन की बातें ।   
लोरी सुना कर मुझको रिझाना ,
दे कर के थपकी मुझको सुलाना ,
सपनों के परियों के किस्से सुनाना ,
कभी बादलों की , कभी पँछियों की ,
बहुत सारे किस्से उनका सुनाना। 
ऊँगली पकड़ मेरा , मुझको घुमाना ,
पल-पल मेरी बलैयां ले लेना ,
बुरी नजरों से भी , मुझको बचाना ,
जरा मेरे रोते , सीने से लगाना ,
सीने से लगा कर , मुझे प्यार करना ,
ढेरों खिलौने दे कर बहलाना ,
वो दादी का प्यारा सा सुन्दर सा मुखड़ा ,
बहुत याद आती , बहुत याद आती ,
बहुत याद आती है  दादी की बातें।