Tuesday, April 1, 2014

किरणें बोलीं सुन मेरी बात।

















सूरज निकला हुआ प्रभात ,
किरणें बोलीं सुन मेरी बात ,
पहले मातु -पिता की पूजा ,
दूजे गुरु के चरण प्रणाण ,
तीजे नमन ईश को करना ,
करना फिर दिन की शुरुआत ,
किरणें बोलीं सुन मेरी बात।

संत जनों का आदर करना ,
सच का साथ कभी ना तजना ,
रखना सदा ही सब का मान ,
करना नहीं मिथ्या अभिमान ,
दीन -दुखी की सेवा करना ,
सदा याद रखना यह तात ,
किरणें बोलीं सुन मेरी बात। 

मिल कर रहना तुम हे प्यारे ,
बंद मुट्ठी से सब  हैं हारे ,
बाधाओं से मत घबराना ,
धीरज - धैर्य कभी न खोना ,
साहस के बल पर ही नाविक ,
लहरों को देते हैं मात ,
किरणें बोलीं सुन मेरी बात।